
फिल्मों में अपने अक्सर देखा होगा कि दुल्हन की बारात दूल्हा हेलीकॉप्टर से लेकर आता है लेकिन हकीकत में अगर बात करें तो यह किसी सपने से कम नहीं। प्रयागराज के पुरा गांव में हेलीकॉप्टर से बारात आई। गांव में अभी तक किसी की बारात हेलीकॉप्टर से नहीं आई थी, जिसको लेकर पूरे गांव में हेलीकॉप्टर से आई बारात की चर्चा थी। दुल्हन के परिवार की तरफ से बारातियों के आने से पहले पूरी तैयारीयां की जा चुकी थी। पूरे गांव के लोगों में इस पल को देखने के लिए उत्सुकता थी। हेलीकॉप्टर लेकर शादी करने आया दूल्हा आयुष तिवारी लखनऊ में BSNL आफिस में कार्यरत है।तो वहीं दुल्हन स्वाती दुबे प्रयागराज के पुरा गांव की रहने वाली है।
दूल्हा और दुल्हन के घर की दूरी महज पांच किलोमीटर है लेकिन शौक ऐसी चीज़ है कि दूल्हा दुल्हन के दादाजी के सपनों की खातिर बारात हेलीकॉप्टर से लेकर पहुंचा दुल्हन के घर। हेलीकॉप्टर के लिए बने हेलीपैड पर जब दूल्हा उतरा तो दुल्हन के परिवार से लेकर ग्रामीणों की खुशी का ठिकाना न था।
प्रयागराज में पुरा गांव के रहने वाले राजेश कुमार दुबे की बेटी स्वाति की शादी 17 फरवरी को थी। स्वाति के दादा लाल जी दुबे का शुरू से सपना था कि उनकी पोती की बारात और विदाई हेलीकॉप्टर से होनी चाहिए। इसी उद्देश्य से शादी में दूल्हा दुल्हन की रजामंदी से पूरे रीति रिवाज और रस्मों के साथ हेलीकॉप्टर लेकर आ पहुंचा दूल्हा दुल्हन के द्वार।
दूल्हे आयुष तिवारी का कहना है कि यह पल हमेशा के लिए यादगार होगा,जब दूल्हे को पता चला की दुल्हन के बुजुर्ग दादाजी का सपना है कि पोती की बारात हेलीकॉप्टर से आए तो दूल्हा घोड़ी चढ़ने के बजाय हेलीकॉप्टर पर चढ़कर आया बारात लेकर। घर के कुलदेवी की मंदिर के ऊपर हेलीकॉप्टर से पुष्प वर्षा की गई। बारातियों के साथ पूरे गांव के लोगों के ठाठ बाट से खाने पीने की व्यवस्था की गई थी,सजावट भी शानदार रही। हेलीकॉप्टर से उतरने के बाद दूल्हे की बारात बैंड बाजे के साथ दुल्हन के घर पहुंची।दूल्हा बारात हेलीकॉप्टर से लेकर आया तो दादाजी के खुशी का ठिकाना न था,बोले पोती की बदौलत उनका यह सपना साकार हुआ है भगवान सबको ऐसी पोतियां दे। किसी प्रकार की कोई अनहोनी न हो इसके लिए फायर ब्रिगेड और स्थानीय पुलिस के साथ चिकित्सा अधिकारी समेत स्वास्थ्यकर्मियों की ड्यूटी लगाई गई थी।